हिल जाती है जमीं चंदन समन्दर मे सुनामी आ जाता है। हिल जाती है जमीं चंदन समन्दर मे सुनामी आ जाता है।
फ़िर सजेंगे रास्ते और गुलिस्तां, फ़िर उजाले का वो दिन भी आयेगा। फ़िर सजेंगे रास्ते और गुलिस्तां, फ़िर उजाले का वो दिन भी आयेगा।
अतः हम बदलेंगे साहित्य बदलेगा... नवयुगीय युवा बदलेगा... अतः हम बदलेंगे साहित्य बदलेगा... नवयुगीय युवा बदलेगा...
तिरंगे में लिपटके बोले वन्दे मातरम् गीत थे। तिरंगे में लिपटके बोले वन्दे मातरम् गीत थे।
रिश्ते सब निभ ही जाएँ, जरूरी तो नहीं बगीचे में सिर्फ गुलाब हो,जरूरी तो नहीं रिश्ते सब निभ ही जाएँ, जरूरी तो नहीं बगीचे में सिर्फ गुलाब हो,जरूरी तो नहीं
सच की तलाश में आइने निकल गये, अंधेरा इतना गर्म है कि ऊजाले पिघल गये, हम ऐसे मौसम के नाम फ़रमान लिख दे... सच की तलाश में आइने निकल गये, अंधेरा इतना गर्म है कि ऊजाले पिघल गये, हम ऐसे मौसम...